@विनोद नेताम
TOP BHARAT - DESK : सर्वविदित है कि अखिल भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस पार्टी इन दिनों भारत जोड़ो यात्रा राहुल गांधी के नेतृत्व में आयोजित रही है। राहुल गांधी की भारत जोड़ो यात्रा का 20 दिन पूरा हो गया है। इस बिच कांग्रेस पार्टी को गोवा में उनके अपने विधायकों की ओर से झटका मिला वंही अब राजस्थान में राजनीतिक घटनाक्रम बहुत तेजी से बदल रहा है! विगत कुछ वर्षों से तेज़ी के साथ जारी कांग्रेस का सियासी संकट खत्म होने के बजाए और बढ़ता ही जा रहा है! जिस तरह का ड्रामा राजस्थान में चल रहा है और गहलोत गुट ने जो शर्ते रखी हैं! उससे चुनाव प्रवेक्षक मल्लिकार्जुन खड़गे और अजय माकन नाराज हैं! राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत राष्ट्रीय कांग्रेस पार्टी की संभावित अध्यक्ष भी हैं। जिसके बावजूद गहलोत का रवैया पिछले दिनों प्रवेक्षको को मिला है उससे इन नेताओं की नाराजगी बढ़ना जायज है। हालांकि उन्होंने सारे घटनाक्रम का ब्योरा कांग्रेस के अंतरिम अध्यक्षा सोनिया गांधी को अवगत करा दिया है! इसके बाद से आलाकमान भी गहलोत से काफी नाराज बताए जा रहे हैं! इस उठा पटक के बीच खबर यह है कि आशोक गहलोत को कांग्रेस अध्यक्ष पद के चुनाव से बाहर किया जा सकता है! कांग्रेस पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष हेतू अशोक गहलोत सबकी पसंद बताई जा रही थी।
इस घटनाक्रम के बीच राजस्थान से लौटने के बाद 10 जनपथ में सोनिया गांधी से मिलने मल्लिकार्जुन खड़गे और अजय माकन गए थे! वहॉ एक बैठक बुलाई गयी थी, जिसमें केसी वेणुगोपाल, मल्लिकार्जुन खड़गे, अजय माकन और दिग्विजय सिंह भी शामिल थे! सुत्रों के अनुसार सभी ने एक सुर में अशोक गहलोत की उम्मीदवारी खारिज करने की बात की, बैठक के बाद जब नेता बाहर निकल रहे थे उस दौरान उनलोगो ने कहा कि 30 सितम्बर को ही पता चलेगा कि कौन कौन अध्यक्ष पद का चुनाव लड़ रहे है!
मीडिया रिपोर्ट की माने तो अब इस रेस में चार नए नाम जुड़ गए हैं और ये नाम मुकुल वासनिक, मल्लिकार्जुन खड़गे, दिग्विजय सिंह, केसी वेणुगोपाल अध्यक्ष पद की रेस में चल रहे हैं! ये सभी सोनिया गांधी के करीबी माने जाते हैं! दरअसल, कांग्रेस नहीं चाहती है कि जिस तरह पंजाब खोया, उसी तरह राजस्थान को खो दें, क्योंकि कांग्रेस के लिए यह सबसे बड़ा राज्य है! इसलिए इसका फैसला 19 अक्टूबर के बाद करना चाहती है.