67 लाख रुपए की सौंदर्यकरण कार्य में चोरी की रेती और मुरूम डालने की आशंका जताई जा रही है,जबकि कार्य से जुड़े हुए मामले पर ठेकेदार को बैगर बिल बाउचर के चेक जारी कर दिया गया है।
बालोद: जिला के सबसे बहुचर्चित नगर पंचायतों में से एक संजारी बालोद विधानसभा क्षेत्र की सरजमीं पर मौजूद नगर पंचायत गुरूर जो कि बालोद जिले के राजनीतिक रण क्षेत्र की राजधानी के तौर पर भी महशूर है। संजारी बालोद विधानसभा क्षेत्र में मौजूद नगर पंचायत गुरूर के अंदर विगत कई वर्षों से लगातार कांग्रेस पार्टी की एकतरफा शासन व्यवस्था चल रही है। इस बीच ध्यान रखने वाली बात यह है कि नगर का कितना विकास हुआ है और नगर के अंदर मौजूद रहने वाले नागरिकों पर इस विकास का कितना असर पड़ा है। वैसे जानकारी के लिए बता दें कि नगर पंचायत गुरूर के अंदर वंही होता है जो मंजूरे हुजूरे आला को मुलतजी कबूल होता है। अब हुजूरे आला की मुलतजी कैसे कबूल होती है यह समस्त देऊर देव के धाम में रहने वाले गुरूर नगर पंचायत के बड़े बुजुर्ग व नगर के ज़र्रा ज़र्रा जानता व पहचानता हैं। उदाहरण के लिए हुजूरे आला की घर के सामने बने हुए अलौकिक गार्डन का नजारा स्पष्ट गवाह है। बहरहाल नगर पंचायत गुरूर के अंदर होने वाले लगभग सभी निर्माण कार्य इस हुजूरे आला की रहमो करम पर आश्रित हैं और इनके आश्रय तले लाखों रूपए का निर्माण कार्य हुजूरे आला की जी हुजूरी करने वाले ज्यादातर कमीशनखोर ठेकेदारों ने बखूबी तरीके से निभाया है। इस कार्य में सिर्फ हुजूरे आला की जी हुजूरी टीम ही सक्रिय नहीं रहे अपितु नगर पंचायत गुरूर के अंदर मौजूद मुख्य नगरपालिका अधिकारी की भी भूमिका संदेहास्पद बताई जा रही है। हालांकि शिकायत नगर पंचायत गुरूर में पदस्थ रहने वाली उपयंत्री लक्ष्मी कोठारी को लेकर महिनों पहले ही दर्ज कराई गई थी बावजूद इसके छत्तीसगढ़ राज्य की सरजमीं पर सांय सांय सुदर्शन चक्र के जरिए सुशासन का दम भरनेवाली भारतीय जनता पार्टी की डबल इंजन सरकार की इंजन नगर पंचायत गुरूर में आकर फेल साबित नजर आ रही है। परिणाम स्वरूप आलम यह बना हुआ प्रतीत बताया जा रहा है कि नगर पंचायत गुरूर के अंदर मौजूद जोगिया तलाब में हुये लाखो रुपए के घपले की शिकायत के बाद से अबतक उपयंत्री लक्ष्मी कोठारी का कंही अतापता तक नहीं है,वंही मामले को लेकर नगर पंचायत गुरूर में पदस्थ मुख्य कार्यपालन अधिकारी की भी बोलती बंद है हालांकि बोलती बंद होने से पीछ ेका एक बड़ा कारण यह भी है जिसके विषय में मौजूदा नगर पंचायत मुख्यकार्यकारी अधिकारी श्रीनिवास पटेल ने टाप भारत न्यूज नेटवर्क से चर्चा करते हुए कहा है कि यह पुरा मामला नगर पंचायत गुरूर में पदस्थ रहने वाले पुर्व मुख्य कार्यपालन अधिकारी तिवारी जी का किये करायें है। और इसके साथ ही तत्कालीन समय के दौरान सत्ता सरकार में रहने वाले लोगों की है ।ऐसे में कुछ दिन बाद एक फिर नगर में नगरिय निकाय चुनाव संपन्न होना है। ऐसे में जाहिर सी बात है कि जोगिया तलाब का जूगनू बनकर लाखो रुपए की हेराफेरी वाली बात सिधा जनता के बीच में जायेगी और नगर पंचायत गुरूर के जनता इस बार सच्चाई और ईमानदारी के साथ काम करने वाले लोगों को अपनी सेवा के लिए चुनकर भेजेगी। हालांकि मामले को लेकर भारतीय जनता पार्टी से ताल्लुक रखने वाले पार्षद मुकेश साहू ने सोसल मीडिया के जरिए एक बार फिर इस मामले में अपना आवाज को बुलंद करने का काम किया है और नगर पंचायत गुरूर के पार्षद मुकेश साहू के इस बुलंद आवाज को मुर्दों की तथाकथित बस्ती नगर पंचायत गुरूर में बुलंद करने हेतू भारतीय जनता पार्टी के वरिष्ठ नेता दुर्गानंद साहू ने तत्काल कार्रवाई करने का मांग को आगे रखा है। भाजपा के वरिष्ठ नेता दुर्गानंद साहू ने कहा है कि जैसे लंका का दहन होने के बाद भी रावण का नाम हर साल लिया जाता है ठीक उसी तरह से दुर्भाग्यवश नगर पंचायत गुरूर में हुजरे आला की राजपाठ खत्म होने के बाद भी उसी का नाम लिया जा रहा है। नैतिकता के आधार पर भारतीय जनता पार्टी की सरकार को नगर पंचायत गुरूर में मौजूद रहने वाले जनता के आंख में धूल झोंककर अपने वारा न्यारा करने वाले तमाम घपलेबाजों को लेकर गहनता से जांच पड़ताल करना चाहिए ताकि नगरवासियों के साथ न्याय हो सकें। सरकारी पैसा आम जनता का काठी कमाई का पैसा होता है इसे अपनी बाप दादा का माल समझने वाले घोटालेबाजो पर कड़ी कार्रवाई होना चाहिए।