कांकेर जिले से निकलकर छत्तीसगढ़ राज्य प्रदेश कांग्रेस कमेटी के उपाध्यक्ष पद पर आसीन बने रहने वाले बिरेश ठाकुर के लिए यह दूसरा मौका है,जब उन्हें कांग्रेस पार्टी ने बतौर कांकेर लोकसभा संसदीय सीट से अपना उम्मीदवार घोषित किया है! इससे पहले वे रामायणी सांसद के तौर पर विख्यात भाजपाई सांसद मोहन मंडावी से पिछले लोकसभा चुनाव हार चुके हैं! आदिवासी समुदाय के लिए आरक्षित कांकेर लोकसभा संसदीय सीट से भाजपा और कांग्रेस पार्टी के उम्मीदवारों का नाम सामने आने से लोकसभा चुनाव में मुख्य राजनीतिक दलों की ओर से यह स्थति साफ हो चुकी है,कि लड़ाई दोनों राजनीतिक दल के किन किन नेताओं के बीच में टक्कर होगी! अब देखना यह दिलचस्प होगा कि लोकसभा चुनाव के सियासी घमासान में कौन सा राजनीतिक दल के उम्मीदवार का पलड़ा दूसरे विपक्षी राजनीतिक दल की उम्मीदवार के पलड़ा पर भारी पड़ता है! राजनीतिक पंडितों की मानें तो छत्तिसगढ़ राज्य सहित देश के कई हिस्सों में इन दिनों मोदी सरकार की गारंटी स्कीम अन्य विपक्षी राजनीतिक दलों की तमाम घोषणाओं से पहले दिखाई दे रही है लेकिन जंहा पर स्थानीय भाजपा उम्मीदवारों की आचरण पर शंका जाहिर किया जा रहा है, वंहा पर भाजपा की स्थिति काफी दयनीय स्थिति भी बताई जा रही है! राजनीतिक पृष्ठभूमि के बिहाप पर यदि देखा जाए तो छत्तीसगढ़ राज्य में लोकसभा के 11 संसदीय क्षेत्र मौजूद है! पिछले दफा के लोकसभा चुनाव में ज्यादातर सीटें भाजपा की झोली में जनता ने भर भर कर दान दिये थे,लेकिन इस बार के लोकसभा चुनाव में क्या भाजपा को पिछले बार की तरह ही बढ़त मिल पायेगी ! यह एक बड़ा सवाल बना हुआ है! चूंकि जानकारों की मानें तो छत्तिसगढ़ राज्य में भाजपा की मौजूदा स्थिति डबल इंजन की सरकार बनने के बाद पहले की अपेक्षा मजबूत नहीं बल्कि कमजोर नजर आ रही है! वंही भाजपा के कांकेर लोकसभा संसदीय क्षेत्र उम्मीदवार भोजराज नाग को लेकर सोसल मीडिया और जमीनी धरातल पर विरोध के स्वर बुलंद हैं! ऐसे में उतर बस्तर के आदिवासी कांग्रेसी नेता बिरेश ठाकुर को कांग्रेस पार्टी ने भोजराज नाग के खिलाफ चुनावी मैदान में उतार दिया है! बता दें कि कांग्रेस उम्मीदवार बिरेश ठाकुर पिछले लोकसभा चुनाव में अपने प्रतिद्वंद्वी भाजपा सांसद मोहन मंडावी से लगभग पांच हजार मतों की अंतर से पराजित हुए थे,लेकिन इन दिनों जिस तरह से भाजपा उम्मीदवार भोजराज नाग को लेकर जमीनी धरातल पर सवाल खड़े किए जा रहे हैं, उसे देखकर लगता है कि बिरेश ठाकुर डबल इंजन सरकार की गारंटी स्कीम को फेल साबित करने में महत्वपूर्ण योगदान निभा सकते हैं! हालांकि बिरेश ठाकुर के लिए लोकसभा चुनाव में भाजपा उम्मीदवार के सामने जीत हासिल करना एक बड़ी चुनौती माना जा रहा है, क्योंकि बिरेश ठाकुर के ज्यादातर सहयोगी साथी रहे कांग्रेसी नेताओं ने विधानसभा चुनाव के दौरान कांग्रेस पार्टी से टिकट नहीं मिलने पर बागी होकर पार्टी से निकाले तक जा चुके हैं! ऐसे में बिरेश ठाकुर के लिए भोजराज नाग को कमजोर समझना बड़ी भूल साबित हो सकती है!
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कांकेर लोकसभा संसदीय सीट के चुनावी मैदान में भाजपा के भोजराज नाग से भिड़ेंगे कांग्रेस पार्टी के करिया रतन बेटा बिरेश ठाकुर !